प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का ड्रीम प्रोजेक्ट कही जाने वाली मुंबई-अहमदाबाद बुलेट ट्रेन की 'रफ्तार' अब तेज की जाएगी. इसका वादा महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम देवेंद्र फडणवीस ने जापानी काउंसल जनरल से किया है. दरअसल बीते ढाई साल के दौरान महाराष्ट्र में उद्धव सरकार में इस प्रोजेक्ट की रफ्तार धीमी पड़ गई थी.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का ड्रीम प्रोजेक्ट कही जाने वाली मुंबई-अहमदाबाद बुलेट ट्रेन की 'रफ्तार' अब तेज की जाएगी. इसका वादा महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम देवेंद्र फडणवीस ने जापानी काउंसल जनरल से किया है. दरअसल बीते ढाई साल के दौरान महाराष्ट्र में उद्धव सरकार में इस प्रोजेक्ट की रफ्तार धीमी पड़ गई थी. प्रोजेक्ट से जुड़े कई क्लीयरेंस अधर में लटक गए थे, लेकिन अब इसकी बाधाओं को दूर किया जाएगा. बुलेट ट्रेन प्रोजेक्ट को फंड कर रही जापान इंटरनेशनल कोऑपरेशन एजेंसी (JICA) को अब महाराष्ट्र सरकार की तरफ से आश्वस्त किया गया है.
बुधवार को काउंसल जनरल और अन्य जापानी अधिकारियों के साथ बैठक में डिप्टी सीएम देवेंद्र फडणवीस ने इस प्रोजेक्ट को लेकर आश्वस्त किया है. मुंबई-अहमदाबाद जैसे आर्थिक केंद्रों को जोड़ने वाले हाई-स्पीड रेल प्रोजेक्ट के अलावा JICA की फंडिंग मुंबई मेट्रो-3 लाइन के लिए भी आ रही है. इसके अलावा मुंबई ट्रांस-हार्बल लिंक प्रोजेक्ट को भी ये एजेंसी फंड करेगी.
देश के सबसे लंबे समुद्री पुल का होगा निर्माण
प्रोजेक्ट पूरा हो जाने पर MTHL देश का सबसे लंबा समुद्री पुल भी होगा जिसकी लंबाई 21.8 किलोमीटर लंबी होगी. फडणवीस ने सोशल मीडिया पोस्ट में कहा- हमने JICA के द्वारा फंडेड बुलेट ट्रेन, एमटीएचएल और मेट्रो-3 लाइन पर चर्चा की. मैंने उनको भरोसा दिया कि सरकार इन प्रोजेक्ट्स की रफ्तार तेज करने को लेकर पूरी तरह से प्रतिबद्ध है. इन सभी प्रोजेक्ट्स का काम वक्त पूरा करने का भी आश्ववासन दिया.
नई सरकार ने आते ही शुरू किया काम
दरअसल महाराष्ट्र की नई सरकार ने आते ही मुंबई-अहमदाबाद हाई स्पीड रेल कॉरिडोर के लिए सभी जरूरी क्लियरेंस दे दिए हैं. 30 जून को शपथ लेने के बाद ही शिंदे-फडणवीस सरकार ने महाराष्ट्र में जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया को तेज किया.
नई महाराष्ट्र सरकार को लिखे खत में नेशनल हाई स्पीड रेल कॉरपोरेशन लिमिटेड के चीफ सतीश अग्निहोत्री ने बताया था कि महाराष्ट्र में जमीन अधिग्रहण का लगभग 72 फीसदी तक हुआ है. लेकिन केवल 39 प्रतिशत जमीन ही भौतिक रूप से कब्जे में हैं. अग्निहोत्री को बीते सप्ताह इस पद से हटा दिया गया था.
यह रोड़े भी हो रहे हैं साफ
इसके अलावा मुंबई मेट्रोपॉलिटन रीजन डेवलपमेंट अथॉरिटी ने बांद्रा-कुर्ला कॉम्प्लेक्स में 4.2 हेक्टेयर के एक प्लॉट से बीपीसीएल के एक स्ट्रक्चर को हटाने के आदेश पर भी हस्ताक्षर कर दिए हैं. यह जगह मुंबई-अहमदाबाद बुलेट ट्रेन प्रोजेक्ट का शुरुआती प्वाइंट है. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक बीपीसीएल के स्ट्रक्चर को इस साल सितंबर महीने तक हटा दिया जाएगा. इसके बाद इस जगह पर 6 प्लेटफॉर्म वाले एक स्टेशन रास्ता साफ हो जाएगा.
21 किमी लंबी सुरंग का रास्ता भी हुआ साफ!
इसके अलावा इस प्रोजेक्ट के लिए प्रस्तावित जमीन के भीतर 21 किमी लंबी एक सुरंग को लेकर भी उद्धव सरकार क्लियरेंस देने में आनाकानी कर रही थी. अब फडणवीस द्वारा यह घोषणा किए जाने के बाद कि सभी क्लियरेंस दे दिए गए हैं तो लगता है कि इस सुरंग के निर्माण का रास्ता भी साफ हो जाएगा.
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